
रुद्रप्रयाग(आरएनएस)। हाल ही में राजस्थान और मध्य प्रदेश में खांसी की दवा (कफ सिरप) के सेवन से बच्चों की मौत की घटनाओं को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग अलर्ट है। दवा की दुकानों का औचक निरीक्षण करते हुए जहां दवा विक्रेताओं को जागरूक किया जा रहा है वहीं इस तरह की घटनाओं की संभावना को न होने के लिए निरीक्षण हो रहा है। स्वास्थ्य सचिव एवं स्वास्थ्य आयुक्त खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन (एफडीए)डॉक्टर आर राजेश कुमार, अपर आयुक्त खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन ताजवर सिंह जग्गी, सह औषधि नियंत्रक गढ़वाल मंडल सुधीर कुमार के निर्देशन में बुधवार को तिलवाड़ा में औषधि निरीक्षक अमित आजाद राजकीय प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र तिलवाड़ा में निरीक्षण किया। उन्होंने बताया कि 4 वर्ष से छोटे बच्चों को खांसी की दवा न दी जाए, उसके बाद उन्होंने तिलवाड़ा मुख्य बाजार में कई दवा दुकानों का निरीक्षण किया, जिसमें उन्होंने चार कफ सीरप सैंपल के लिए लेकर जांच के लिए लैब भेज दिए। औषधि निरीक्षक अमित आजाद ने अभिभावकों से अपील की कि 4 साल से छोटे बच्चों को खांसी जुकाम की दवा नहीं देनी चाहिए। साथ ही पहले से प्रयोग में लाई गई खुली दवा को किसी भी बच्चे को सेवेन न कराएं। खुली दवाइयां में विभिन्न प्रकार के दूषित अथवा फंगस ग्रोथ हो सकती है, जो कि बच्चों के स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव डाल सकती है, साथ ही बदलते मौसम में बच्चों का अच्छे से ध्यान रखा जाए, जिससे उन्हें किसी भी इंफेक्शन से बचाया जा सके। औषधि निरीक्षक ने बताया कि यह कार्यवाही चलती रहेगी।