शक्ति नहर किनारे सुरक्षात्मक कार्य सिर्फ दिखावा : मंच
विकासनगर। शक्ति नहर के किनारे रेलिंग और जाली लगाने के कार्य में अनियमितता की शिकायत करते हुए भारत संवैधानिक अधिकार संरक्षण मंच ने डाकपत्थर बैराज पर प्रदर्शन किया। रविवार दोपहर डाकपत्थर बैराज पहुंचे मंच के कार्यकर्ताओं ने कहा कि शक्ति नहर किनारे किए जाने वाले सुरक्षात्मक कार्य सिर्फ दिखावा हैं। मंच के राष्ट्रीय संयोजक दौलत कुंवर ने कहा कि भारत सरकार की ओर से आबादी क्षेत्र में परियोजना के लिए बनी नहरों और बैराज झील के किनारों पर दुर्घटनाओं को रोकने के लिए पंद्रह फिट ऊंची रेलिंग के साथ ही जाली लगाए जाने का प्रावधान किया गया है। लेकिन प्रदेश सरकार पछुवादून में शक्ति नहर किनारे केंद्र सरकार के प्रावधानों के अनुरूप सुरक्षात्मक कार्य नहीं कर रही है। यहां नाम मात्र के लिए जाली लगाई जा रही है। इतना ही नहीं जल विद्युत निगम अधिकारी खुद कह रहे हैं कि मात्र सौ मीटर के दायरे में सुरक्षात्मक कार्य होंगे। जबकि डाकपत्थर से लेकर कुल्हाल तक शक्ति नहर किनारे नौ सौ परिवार निवास करते हैं। बीते साठ वर्षों में शक्ति नहर में डूबने से सैकड़ों लोग अपनी जान गंवा चुके है। हाल ही में विकासनगर के एक चिकित्सक समेत नावघाट पुल निर्माण में लगी एजेंसी के दो कर्मचारियों की मौत भी शक्ति नहर में डूबने से हुई थी। इसके बाद मंच की ओर से जल विद्युत निगम के महाप्रबंधक के खिलाफ कोतवाली में तहरीर दी गई, जिसके बाद नींद से जागे जल विद्युत निगम अधिकारियों ने नहर किनारे सुरक्षात्मक कार्य करने शुरू किए। लेकिन यह कार्य भी सिर्फ दिखावा है, जिससे जन आक्रोश को शांत करने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने कहा कि शक्ति नहर किनारे बसे परिवारों को मालिकाना हक दिलाने और नहर पर सुरक्षात्मक कार्य कराने की मांग को लेकर जब से आंदोलन शुरू किया गया तब से उन्हें धमकी भी दी जाने लगी है। कार्यकर्ताओं ने सुरक्षात्मक कार्य मानक के अनुरूप करने की मांग सरकार से की है। प्रदर्शन करने वालों में स्वराज चौहान, सुमेर चंद धीमान, आसिफ मिर्जा, कमलेश गोयल, गणेश रावत, अमित रावत, गुलशन नाथ, जैतून, ममता, आशा देवी, बहादुर सिंह, उमा देवी, बल बहादुर, सीता देवी, गीता देवी, जाति राम, ओमप्रकाश, महावीर सिंह, शंकर सिंह, मुरारी लाल, शांति देवी, सुनीता देवी आदि शामिल रहे।