श्रीनगर परियोजना से हटाए कर्मियों ने जताया आक्रोश

श्रीनगर गढ़वाल।  श्रीनगर परियोजना की कार्यदाई कंपनी एएचपीसीएल से हटाए गए कर्मियों ने पुलिस एवं स्थानीय प्रशासन व कंपनी प्रबंधन के खिलाफ आक्रोश व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि परियोजना प्रभावितों के साथ हुए अनुबंध के आधार पर उन्हें निर्धारित सेवा शर्तों के अनुसार कंपनी में रोजगार दिया गया था, लेकिन कंपनी ने 8-10 साल की सेवा के बाद हटा दिया। इसके विरोध में आंदोलन करने पर पुलिस व स्थानीय प्रशासन कंपनी के दबाव में उनका उत्पीड़न कर रहा है। परियोजना प्रभावितों ने कहा कि 15 अगस्त से कंपनी कार्यालय परिसर में आंदोलन शुरू कर दिया गया था। जबकि दूसरे दिन पुलिस प्रशासन द्वारा उन्हें धरना स्थल से भगा दिया गया। 17 अगस्त को वह कंपनी के गेट के समीप एनएच किनारे धरना दे रहे थे तो तहसील प्रशासन व पुलिस प्रशासन ने उन्हें वहां से भी हटा दिया। कहा परियोजना प्रभावित काश्तकारों ने अपनी जमीन, मकान व राष्ट्रहित में परियोजना को दिया है। ऐसे में उनके साथ इस तरह का अमानवीय व्यवहार किया जाना निंदनीय है। कहा उनके अधिकारों को कुलचने का प्रयास किया जा रहा है। आक्रोश जताने वालों में अजय मोहन भट्ट, आशीष थपलियाल, निर्मला देवी, सुनीता देवी, उपेंद्र, शैलेंद्र भट्ट, सुभाष रतूड़ी, कैलाश बहुगुणा आदि शामिल रहे।


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