श्रद्धा और समर्पण भाव के बिना कार्य में सफलता नहीं

ऋषिकेश। कथा व्यास पंडित शिवस्वरूप नौटियाल ने कहा कि श्रद्धा और समर्पणभाव के बिना किसी भी कार्य में सफलता पाना कठिन है। लिहाजा समर्पण और अटूट श्रद्धा के साथ की गई भक्ति हमें सफलता की ओर ले जाती है।ग्राम सभा खदरी के दिल्ली फार्म में आयोजित नौ दिवसीय श्रीमद् देवी भागवत कथा में तीसरे दिन कथा व्यास पंडित शिव स्वरूप नौटियाल ने श्रद्धालुओं को दिव्य कथा का अमृतपान कराते हुए कहा कि श्रद्धापूर्ण एकाग्रचित्त होकर निर्मल मन से हम जो भी कार्य मां भगवती का नाम लेकर प्रारम्भ करेंगे, वह अवश्य सफल होगा। इस दौरान शिव शक्ति कीर्तन मंडली ने माता का गुणगान किया। पारंपरिक वाद्य यंत्रों की थाप पर श्रृखंलाबद्ध भजनों से कथा पंडाल भक्ति से सराबोर हो गया। श्रद्धालु भाव विभोर होकर झूमते रहे। मौके पर शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास प्रांत पर्यावरण प्रमुख विनोद जुगलान, बलदेव भंडारी, धूम सिंह, वीर सिंह, आचार्य रवि कोठियाल, प्रेम दत्त भट्ट, सुंदरी, नीलम, पूनम, पदमा नैथानी,आचार्य नरेश मंद्रवाल, जितेंद्र पैन्यूली, महेश पन्त आदि मौजूद रहे।


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