अभिवृत्ति मापनी प्रविधि एवं मानकीकरण के गुणों से रूबरू हुए शोधार्थी


रिसर्च मैथड एण्ड डेटा एनालिसिस ओरिएंटेशन कोर्स जारी

अल्मोड़ा। राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एससीईआरटी) व अल्मोड़ा स्थित इंस्टीट्यूट आॅफ एडवांस स्टेडीज इन एजुकेशन के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित डायट प्राध्यापकों एवं शोधार्थियों के लिए जारी आॅनलाईन ओरिएंटेशन कोर्स जारी है। बृहस्पतिवार को संदर्भदाता सहायक प्राध्यापक डाॅ संगीता पंवार की ओर से शैक्षणिक शोध में प्रयुक्त होने वाले अभिवृत्ति मापनी की विशेषताएं, मानकीकृत परीक्षण निर्माण, परीक्षण की विश्वसनीयता एवं वैधता के बारे में बोधगम्य एवं अंतरक्रियाशील (इंटरैक्टिव) तरीके से पहले व दूसरे सत्र में व्याख्यान दिया।
रिसर्च मैथड्स एण्ड डेटा एनालिसिस ओरिएंटेशन कोर्स के चौथे दिन संदर्भदाता एवं कार्यक्रम समन्वयक एसएसजे विवि की सहायक प्राध्यापक डॉ. संगीता पंवार द्वारा अभिवृत्ति मापनी सर्वाधिक उपयुक्त परीक्षणों के बारे में विस्तापूर्वक जानकारी दी। उन्होंने बताया कि अभिवृत्ति मापनी के क्षेत्र में शिक्षाविद् मनोवैज्ञानिक लिकर्ट स्केल सबसे अधिक प्रयोग किया जाता है। इसके अलावा थ्रस्टन मापनी, गटमैन मापनी एवं शब्दार्थ विभेदक मापनी का प्रयोग की मानकीकृत परीक्षणों में बहुतायत किया जाता है। जिसमें अभिवृत्ति मापने के लिए अलग-अलग स्केल दिए होते है, उत्तरदाता जिसमें सकारात्मक एवं नकारात्मक पहलुओं को इच्छित रेटिंग देकर अपनी मतावली प्रस्तुत करता है। जो डेटा एनालिसिस करते समय परीक्षण की तीव्रता को व्यक्त करता है कि वह उससे इस स्तर पर संतुष्ट है। डाॅ पंवार ने हस्तनिर्मित टूल के मानकीकरण करने के उपायों के बारे में भी जानकारी दी। इस दौरान डायट प्राध्यापकों एवं शोधार्थियों की टूल निर्माण में आने वाली दिक्कतों के बारे में भी डाॅ पंवार ने पेश आ रहीं समस्याओं को पूछा और उनकी शंकाओं को समाधान भी किया। इस मौके पर शिक्षा संकाय प्रमुख प्रो विजयारानी ढ़ौंडियाल, डाॅ नीलम कुमारी, डाॅ देवेंद्र सिंह चम्याल, अंकिता कश्यप, गौहर फातिमा, हिमांशु शर्मा, गोविंद सुयाल, श्रृंखला चावला आदि ने कोर्स संचालन में सहयोग दिया।


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