परीक्षा के दौरान छात्र नेता और शिक्षक के बीच धक्का-मुक्की, नोकझोंक

रुद्रपुर। एमए इतिहास की प्रथम सेमेस्टर की परीक्षा के दौरान हुए विवाद के बाद छात्र नेता और एसोसिएट प्रोफेसर के बीच धक्का-मुक्की के बाद हुई हाथापाई में प्रोफेसर कक्षा में बेहोश हो गए, जिससे हंगामा हो गया। इसमें छात्रनेता को भी चोट आ गई। सूचना पर पुलिस भी पहुंच गई। पुलिस ने छात्रनेता को जिला तो प्रोफेसर को निजी अस्पताल में चेकअप कराने के बाद घर भेज दिया गया। वहीं इस मामले में प्रोफेयर से अभद्रता के बाद अन्य शिक्षकों ने सामूहिक इस्तीफा देने का ऐलान कर दिया है। इसके बाद एनएसयूआई भी शिक्षकों के समर्थन में उतर पड़ी। हालांकि मामले में किसी ने कोई तहरीर नहीं दी है।

सरदार भगत सिंह राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय में सुबह एमए इतिहास प्रथम की परीक्षा चल रही थी। इस दौरान एसो. प्रोफेसर पीएन तिवारी डयूटी कर रहे थे। उनके साथ अन्य शिक्षक भी परीक्षा कक्ष में तैनात थे। इस दौरान कुछ छात्राओं के पास नकल की पर्ची पकड़ी गई थी। जिस पर डयूटी कर रहे शिक्षक ने कॉपी ले ली थी। इस बीच छात्राएं छात्र नेता सौरभ राठौर के पास गईं। यहां छात्र नेता सौरभ राठौर की शिक्षक से बातचीत चल रही थी कि दोनों में विवाद हो गया। अचानक गाली-गलौज शुरू हो गई। इसके बाद धक्कामुक्की और फिर हाथापाई होने लगी। इस बीच प्रो. तिवारी अचानक बेहोश हो गए। इसके बाद शोर मचने लगा। शोरगुल होने के बाद वहां अन्य शिक्षक और प्राचार्य केके पांडेय भी आ गए। सूचना पाकर मौके पर पुलिस भी आ गई। इस दौरान किसी तरह दोनों को अलग कराया गया और छात्र नेता सौरभ राठौर को चोट लगने पर उनको जिला अस्पताल भेजा गया। जबकि प्रो. पीएन तिवारी को एक निजी अस्पताल में दिखाने के बाद हल्द्वानी घर भेज दिया गया। इधर, पुलिस के जाने के बाद कॉलेज के कई शिक्षकों ने इसका विरोध जताया और सामूहिक इस्तीफा देने के लिए कहा। जानकारी लगने के बाद एनएसयूआई के छात्र नेता भी आ गए और उन्होंने शिक्षकों का समर्थन किया। इस तरह हंगामा होने पर कॉलेज में गहमा-गहमी का माहौल रहा। वहीं डिग्री कॉलेज के प्राचार्य केके पांडेय ने बताया कि इस मामले में कमेटी गठित कर दी गई है। जांच के बाद इस मामले में कार्रवाई की जाएगी।