वन्यजीव आतंक पर पार्षदों ने जताई चिंता, डीएफओ से की समाधान की मांग

अल्मोड़ा। नगर क्षेत्र में बंदरों, तेंदुओं और जंगली सूअरों की बढ़ती समस्या को लेकर सोमवार को पार्षदों ने प्रभागीय वनाधिकारी दीपक कुमार सिंह के साथ बैठक की। बैठक में जनजीवन की सुरक्षा, पर्यावरणीय संतुलन और फसलों की रक्षा को लेकर गंभीर चर्चा हुई। पार्षदों ने नगरवासियों को वन्यजीवों से हो रही समस्याओं से राहत दिलाने के लिए वन विभाग से ठोस और त्वरित कार्रवाई की मांग की। बैठक के दौरान पार्षदों ने बताया कि नगर में बंदरों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। उनके आक्रामक व्यवहार के कारण बच्चे, महिलाएं और बुजुर्ग असुरक्षित महसूस कर रहे हैं। बंदरों द्वारा घरों और दुकानों में घुसपैठ की घटनाएं भी आम हो चली हैं। पार्षदों ने बंदरों की नसबंदी, पकड़-धकड़ और पुनर्वास की प्रभावी योजना को तत्काल लागू करने की मांग रखी। तेंदुए की बढ़ती आवाजाही को लेकर भी बैठक में चिंता जताई गई। नगर से लगे क्षेत्रों में तेंदुए के कई बार देखे जाने से भय का माहौल बना है। पार्षदों ने वन विभाग से तेंदुए को पकड़ने के लिए सुरक्षित जाल लगाने और रात्रिकालीन गश्त बढ़ाने जैसे सुरक्षा उपायों की मांग की। इसके अलावा, जंगली सूअरों द्वारा खेतों को नुकसान पहुंचाए जाने और रिहायशी इलाकों में घुसने की घटनाओं पर भी चर्चा हुई। पार्षदों ने बताया कि इससे न केवल किसानों को भारी आर्थिक नुकसान हो रहा है, बल्कि आम नागरिकों की सुरक्षा भी खतरे में है। उन्होंने वन विभाग से इन पर प्रभावी नियंत्रण के लिए निगरानी तंत्र मजबूत करने की मांग की। पार्षदों ने सामूहिक रूप से कहा कि वे नगरवासियों की समस्याओं को हल कराने के लिए हर संभव प्रयास करते रहेंगे। यह बैठक वन्यजीव समस्या को लेकर नगर स्तर पर की गई एक सकारात्मक पहल मानी जा रही है। बैठक में पार्षद मधु बिष्ट, वैभव पांडे, इन्तेखाब कुरैशी, वंदना वर्मा, कुलदीप सिंह मेर, जानकी पांडे, भूपेंद्र जोशी, चंचल दुर्गापाल और गुंजन चमयाल सहित कई पार्षद उपस्थित रहे।

Powered by myUpchar

error: Share this page as it is...!!!!