सरकार ने रेमडेसिविर का उत्पादन दोगुना करने की दी मंजूरी

कालाबाजारी के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के दिए निर्देश

नई दिल्ली, (आरएनएस)। देश में कोरोना वायरस की दूसरी लहर का कहर जारी है। देश में कोरोना संक्रमण के नए मामले बढऩे के साथ ही रेमडेसिविर दवा की किल्लत हो गई है। संकट बढ़ता देख कोरोना के इलाज में इस्तेमाल होने वाली रेमडेसिविर की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए केंद्र सरकार सक्रिय हो गई है। सरकार ने गुरुवार को रेमडेसिविर के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने के बाद अब सरकार ने देश में इसका उत्पादन दोगुना करने को मंजूरी दे दी है।
सरकार ने देश में रेमडेसिविर की कमी को देखते हुए सोमवार और मंगलवार को लगातार दो दिन के दवा उत्पादकों के साथ बैठक की है। अभी देश में सात कंपनियां हर महीने रेमडेसिविर इंजेक्शन की कुल 38.8 लाख वायल (शीशी) का उत्पादन करती हैं, जिनमें से चार लाख वायल का निर्यात किया जाता था। केंद्र सरकार ने रविवार को रेमडेसिविर के निर्यात पर पूरी तरह प्रतिबंध लगा दिया था। इससे देश में हर महीने अतिरिक्त चार लाख वायल की उपलब्धता बढ़ गई है। इसके अलावा रसायन व उर्वरक मंत्री मनसुख मंडाविया के साथ बैठक करने के बाद कंपनियों को 10 लाख वायल हर महीने बनाने के लिए तत्काल मंजूरी दे दी गई। केंद्रीय मंत्री मंडाविया के अनुसार इसके अलावा 30 लाख वायल प्रति महीने के अतिरिक्त उत्पादन का प्रबंध किया जा रहा है। इससे देश में रेमडेसिविर का उत्पादन 78 लाख वायल प्रति महीने हो जाएगा। इसके साथ ही सरकार ने रेमडेसिविर उत्पादकों से खुले बाजार में इसकी सप्लाई करने के बजाय अस्पतालों को प्राथमिकता देने को कहा है।
गंभीर मरीजों को ही दी जाएगी रेमडेसिविर
भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के महानिदेशक डॉ. बलराम भार्गव ने मंगलवार को स्पष्ट किया था कि रेमडेसिविर का इस्तेमाल सिर्फ उन्हीं कोरोना मरीजों के लिए किया जा सकता है, जो अस्पताल में ऑक्सीजन सपोर्ट पर हों। सरकार ने भी राज्यों को रेमडेसिविर दवा की कालाबाजारी, जमाखोरी और ज्यादा कीमत वसूली की शिकायतों पर तत्काल कार्रवाई सुनिश्चित करने को कहा है। मंडाविया ने कहा कि रेमडेसिविर के उत्पादकों से एक हफ्ते के भीतर दवा की कीमत भी कम करने आग्रह किया गया है। डॉ. रेड्डीज लैबोरेटरीज, सन फार्मा, सिप्ला और जायडस कैडिला जैसी कंपनियों ने उत्पादन क्षमता बढ़ाने और कीमत करने का भरोसा दिलाया है।
तीन दिन में मिलेगी विदेशी टीकों के आयात को मंजूरी
इस बीच केंद्र सरकार ने कोरोना के खिलाफ जंग को तेज करते हुए वैक्सीन के आयात के नियम में बड़े बदलाव किए हैं। अब किसी भी विदेशी वैक्सीन की ओर से आवेदन मिलने पर सिर्फ 3 दिन के भीतर मंजूरी दी जा सकेगी। केंद्र सरकार ने मंगलवार को विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) या अमेरिका, यूरोप, ब्रिटेन या जापान में नियामकों की मंजूरी प्राप्त कोरोना वायरस के सभी टीकों को त्वरित मंजूरी देने के फैसला किया था। इसके बाद सीडीएससीओ ने नियामकीय मंजूरी को लेकर विस्तृत निर्देश जारी किए हैं।


error: Share this page as it is...!!!!