प्रधानाचार्य भर्ती होगी स्थगित, शिक्षा सचिव ने आयोग को भेजा पत्र

देहरादून(आरएनएस)। सरकार ने आखिरकार सरकार ने सरकारी इंटर कालेज के प्रधानाचार्य की विभागीय सीधी भर्ती परीक्षा को फिलहाल स्थगित करने का निर्णय ले लिया। मंगलवार को शिक्षा सचिव रविनाथ रमन ने उत्तराखंड लोक सेवा आयोग के सचिव को पत्र भेजते हुए 29 सितंबर को प्रस्ताव परीक्षा को स्थगित करने को कहा है। वर्तमान राज्य शैक्षिक (अध्यापन संवर्ग) राजपत्रित सेवा नियमावली को संशोधित करने के बाद ही परीक्षा को कराया जाएगा। मालूम हो कि शिक्षक वर्तमान नियमावली के प्रावधान और भर्ती प्रक्रिया के खिलाफ आंदोलन कर रहे हैं। शिक्षकों की नाराजगी इस बात पर ज्यादा है कि सरकार ने केवल प्रधानाध्यापक और प्रवक्ताओं को ही भर्ती परीक्षा के लिए पात्र माना। जबकि एलटी शिक्षकों के एक बड़े वर्ग की अनदेखी कर दी। राजकीय शिक्षक भर्ती प्रक्रिया को निरस्त करने की मांग को लेकर दो सितंबर से आंदोलन कर रहा है। छह सितंबर को शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत की अध्यक्षता में शिक्षा, वित्त, कार्मिक, न्याय विभाग की उच्चस्तरीय बैठक में वर्तमान भर्ती नियमावली में बदलाव करने का निर्णय किया था। नई संशोधित नियमावली के अस्तित्व में आने तक वर्तमान भर्ती प्रक्रिया को स्थगित करने पर सहमति बन गई थी। सरकार ने प्रधानाचार्य पद के लिए आयु सीमा को 50 से बढ़ाकर 55 साल करने और पंद्रह साल की सेवा पूरी कर चुके 5400 ग्रेड वाले एलटी शिक्षकों को भी पात्र बनाने का निर्णय किया है। शिक्षकों के हित में कुछ और संशोधन भी प्रस्तावित हैं।
प्रधानाचार्य के 50 प्रतिशत रिक्त पदों पर विभागीय हित में और अधिक प्रतिस्पर्धा लाने के लिए वर्तमान राज्य शैक्षिक (अध्यापन संवर्ग) राजपत्रित सेवा नियमावली में कुछ संशोधन करने का निर्णय किया गया है। संशोधित नियमावली के आधार पर परीक्षा कराई जा सकती है।   – रविनाथ रमन, शिक्षा सचिव


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