
चमोली(आरएनएस)। रवांई घाटी ठेकेदार जनकल्याण समिति पुरोला मोरी ने सिंचाई विभाग की नहरों के लिए पूर्व में आवंटित धनराशि को शासन स्तर पर विलोपित किए जाने पर कड़ा विरोध जताया है। उन्होंने इसके लिए एसडीएम पुरोला के माध्यम से डीएम को ज्ञापन प्रेषित कर बजट आंवटित करने की मांग की। सोमवार को रवांई घाटी के ठेकेदारों ने संगठन के अध्यक्ष बद्री प्रसाद नौडियाल के नेतृत्व में एसडीएम मुकेश रमोला के माध्यम से जिलाधिकारी उत्तरकाशी को ज्ञापन प्रेषित किया। इस मौके पर उन्होंने कहा कि पुरोला तहसील क्षेत्र मुख्यतः कृषि प्रधान है, जहां सिंचाई नहरों का निर्माण एवं रखरखाव किसानों की आजीविका के लिए अत्यंत आवश्यक है। कहा कि विश्वसनीय सूत्रों से जानकारी मिली है कि सिंचाई विभाग में नहरों के लिए आवंटित धनराशि कुछ कारणों से शासन स्तर पर विलोपित कर दी गई, जिससे क्षेत्र के काश्तकारों और स्थानीय बेरोजगारों के साथ सीधा अन्याय हुआ है। समिति ने कहा कि यदि शीघ्र नहर निर्माण एवं अन्य विकास कार्यों के लिए धनराशि को पुनः स्वीकृति नहीं दी गई तो क्षेत्र की कृषि व्यवस्था प्रभावित होगी और रोजगार के अवसर भी कम हो जाएंगे। रवांई ठेकेदार जनकल्याण समिति ने जिलाधिकारी से मांग की है कि आग्रह किया है कि सिंचाई एवं अन्य विकास कार्यों हेतु पूर्व में आवंटित धनराशि पर पुनर्विचार कर शीघ्र स्वीकृति प्रदान की जाए, ताकि किसानों और स्थानीय श्रमिकों को राहत मिल सके। ज्ञापन देने वालों में बलदेव असवाल, गजेंद्र चौहान, लोकेश उनियाल, दर्मियान पंवार, शीशपाल रावत, दिनेश चौहान, जगमोहन पंवार, उपेन्द्र शर्मा, गोपाल चौहान आदि लोग शामिल रहे।

