‘किसान आंदोलन’ पर आईएसआई की नजऱ, खुफिया एजेंसियों ने जारी किया अलर्ट

कई मेट्रो स्टेशन बंद

नई दिल्ली (आरएनएस)। आज होने वाले किसानों के प्रदर्शन में जहर घोलने की आईएसआई ने बड़ी साजिश रची है। पाकिस्तानी ख़ुफिय़ा एजेंसी ‘इंटर-सर्विलेंस इंटेलिजेंस’ अब ‘किसान आंदोलन’ के माध्यम से भारत में अराजकता का माहौल पैदा करना चाहती है। दिल्ली पुलिस के साथ-साथ ‘सेन्ट्रल इंडस्ट्रियल सिक्योरिटी फोर्स’ को भी सतर्क कर दिया गया है। सीआईएसएफ दिल्ली मेट्रो सहित कई महत्वपूर्ण स्थानों की सुरक्षा का दायित्व संभाले हुए है।
आज 26 जून को किसानों का देशव्यापी प्रदर्शन है। दिल्ली पुलिस और अन्य संबंधित एजेंसियों को इससे संबंधित एक पत्र भेजा गया है। पत्र मिलने के बाद दिल्ली पुलिस की ओर से पुख्ता इंतजाम किए गए हैं। सुरक्षा के लिहाज से कुछ मेट्रो स्टेशन भी शनिवार को कुछ घंटों के लिए बंद रखा गया है।
पत्र में उल्लेख किया गया है कि मेट्रो स्टेशनों के बाहर सुरक्षाबल तैनात किए जाएंगे। गौरतलब है कि एहतियात के तौर पर और कानून-व्यवस्था की स्थिति में किसी भी तरह की गड़बड़ी से बचने के लिए, दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन ने शनिवार को तीन मेट्रो स्टेशनों- विश्वविद्यालय, सिविल लाइंस और विधानसभा को सुबह 10 से दोपहर 2 बजे तक बंद रखने का फैसला किया है। दिल्ली पुलिस की सलाह पर यह कदम उठाया गया है, जिसने सुरक्षा के भी व्यापक इंतजाम किए हैं। शनिवार को दिल्ली के सीमावर्ती इलाकों में प्रदर्शन कर रहे किसानों के साथ कई किसान समूहों के भी शामिल होने की उम्मीद है।
इस बीच, केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने किसान संघों से केंद्र के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ अपना आंदोलन समाप्त करने का आग्रह किया। तोमर ने कहा, मैं सभी किसान संघों से अपना आंदोलन समाप्त करने का आग्रह करता हूं। सरकार ने उनके साथ 11 दौर की बातचीत की थी। कृषि सुधार विधेयक किसानों के जीवन में बेहतरी लाएंगे।
चल रहे किसान आंदोलन के सात महीने पूरे होने पर, संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) ने राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद से ‘कृषि बचाओ और लोकतंत्र बचाओ’ और तीन कृषि विरोधी कानूनों को निरस्त करने के लिए हस्तक्षेप करने की मांग की है। एसकेएम ने कहा कि वह 26 जून को पूरे भारत से राष्ट्रपति को एक ज्ञापन भेजेगा, जो किसानों की पीड़ा और आक्रोश पर उनके आंदोलन के सात महीने का प्रतीक है। और उनसे किसान कानूनों को निरस्त करने और किसानों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य की कानूनी गारंटी प्राप्त करने के लिए अपील करेगा।

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