किराए के मकान में चल रहा था जिस्मफरोशी का कारोबार, 3 गिरफ्तार
देहरादून। एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट ने पटेल नगर क्षेत्र में किराए पर एक मकान में सेक्स रैकेट का भंडाफोड़ किया है। इस मामले में पुलिस और एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट की संयुक्त टीम ने दंपति समेत तीन लोगों को गिरफ्तार किया है । दो महिलाओं का रेस्क्यू भी किया है, जिन्हें जबरदस्ती इस धंधे में धकेला गया था।
पुलिस ने बताया कि आरोपी दंपति फोन और व्हाट्सएप के जरिए ग्राहकों से संपर्क करते थे और फिर डिमांड के अनुसार बाहर से लड़कियां भी बुलवाते थे। एसपी सिटी सरिता डोभाल ने इस मामले का खुलासा किया। उन्होंने बताया कि एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट को सूचना मिली थी कि आईएसबीटी के पास सेवलकला इलाके में स्थित एक किराए के घर में जिस्मफरोशी का धंधा चल रहा है, जिसे एक दंपति चला रहे थे। पुलिस में पहले पूरे मामले की छानबीन की और फिर यमनोत्री एन्क्लेव में स्थित उस घर पर छापा मारा, जहां ये सब किया जा रहा था।
पुलिस ने जब घर पर छापा मारा तो वहां से तीन महिलाएं और दो व्यक्ति आपत्तिजनक स्थिति में पकड़े गए। पुलिस की पकड़ में आई दोनों महिलाओं ने बताया कि वो गरीब घर की है और उन्हें पैसे की जरूरत थी, इसीलिए दंपति ने उन्हें पैसा का लालच दिया और उनकी मजबूरी का फायदा उठाते हुए दोनों को जिस्मफरोशी के धंधे में धकेल दिया। जिस दंपति ने ये घर किराए पर लिया हुआ था, उनका नाम दिलीप और सविता उर्फ अंजली है। इनके अलावा पुलिस ने एक ग्राहक अर्जुन सिंह को गिरफ्तार किया है।
एसपी सिटी सरिता डोभाल ने बताया की दोनों पति-पत्नी पिछले काफी समय से देह व्यापार का धंधा चलाते आ रहे है। यह लोग पॉश और भीड़भाड़ वाले इलाके में ऐसा मकान किराये पर लेते थे, जिसमे मकान मालिक नहीं रहता था। पति-पत्नी होने के कारण इनको आसानी से मकान किराये पर मिल जाता था, इसके बाद यह लोग फोन और व्हाट्सएप के माध्यम से अनेकों ग्राहकों से सम्पर्क करते थे और जिस्मफरोशी के लिए बाहर से भी लड़कियां बुलाई जाती थी। यह लोग ग्राहक की डिमांड अनुसार उनको अपना कमरा अवैध कार्य के लिये उपलब्ध कराते थे। यदि कोई ग्राहक बाहर सेवा मांगता था तो सविता का पति गाड़ी से लड़कियों की सप्लाई करता था। ये लोग 1500 से लेकर 10 से 15 हजार तक ग्राहकों से रुपए लेते थे। यह लोग एक जगह में छह से सात महीने से ज्यादा किराये पर नहीं रहते थे, ताकि आसपास के लोगों को इन पर ज्यादा शक न हो।