कमिश्नर सुशील कुमार को दी विदाई

पौड़ी। 28 साल की सेवा के बाद कमिश्नर गढ़वाल सुशील कुमार शुक्रवार को सेवानिवृत्त हो गए। उनकी सेवानिवृत्ति पर आयुक्त सभागार में समारोह का आयोजन किया गया। सुशील कुमार की सेवाएं बीते मार्च में ही पूरी हो गई थी, लेकिन सरकार ने उन्हें तीन महीने का सेवा विस्तार दिया था, जो जून में पूरा हुआ। गढ़वाल और कुमाऊं कमिश्नर से पहले सुशील कुमार ने प्रदेश में विभिन्न पदों पर सेवाएं दी। सुशील कुमार ने अपने कैरियर की शुरुआत शॉर्ट सर्विस कमिशन से भारतीय सेना से की और कैप्टन के पद पर रहे। इसके बाद उत्तर प्रदेश पीसीएस परीक्षा पास की। उनकी पहली तैनाती 30 जनवरी 1995 में हापुड़ के एसडीएम के तौर पर हुई। इस बीच वे विभिन्न जिलों में रहे। उन्हें 2000 में एसडीएम सहारनपुर बनाया गया। इसके बाद वे उत्तराखंड राज्य में आए। उत्तराखंड में देहरादून व हरिद्वार में सीडीओ के साथ ही सचिव हरिद्वार रुड़की विकास प्राधिकरण व सचिव एमडीडीए पद पर भी उन्होंने काम किया। सुशील कुमार को आईएएस का 2005 बैच मिला। इसके बाद जनवरी 2015 में डीएम पिथौरागढ तो 2017 से 2019 तक पौड़ी के डीएम रहे। शासन में भी उन्हें आयुक्त आबकारी व सचिव खाद्य व राजस्व की जिम्मेदारी दी गई। उन्हें जुलाई 2021 कुमाऊं का कमिश्रर बनाया गया था वहां से वे आयुक्त गढ़वाल के पद पर 2 दिसंबर 2021 को आए थे। पौड़ी आयुक्त सभागार में आयोजित कार्यक्रम में उन्हें मंडलीय व जनपदीय अधिकारियों ने विदाई दी। इस मौके पर सुशील कुमार ने कहा कि उन्हें पौड़ी में जिलाधिकारी के पद पर भी काम करने का मौका मिला और आज आयुक्त के पद से भी पौड़ी से ही सेवानिवृत्त हो रहे हैं। कहा कि विभिन्न पदों पर काम करने का मौका मिला। आयुक्त ने अफसरों से कहा कि विकास की मुख्यधारा से अभी तक वंचित लोगों के लिए टीम भावना से काम करने की जरूरत है। विदाई समारोह में पौड़ी के डीएम डा. आशीष चौहान ने कहा कि जब वे डीएम पिथौरागढ़ रहे, तब सुशील कुमार कुमाऊं के कमिश्नर पद पर रहे। आज जब पौड़ी डीएम है तो यहां भी उनके साथ काम करने का मौका मिला। उन्होंने जो प्रशासनिक दक्षता का परिचय दिया वह अनुकरणीय है। विदाई समारोह के दौरान मंडलीय और जिला स्तरीय अधिकारियों ने आयुक्त को सेवानिवृति पर पुष्पगुच्छ भेंट किए। कार्यक्रम में सीएफ पंकज कुमार, पौड़ी की एसएसपी श्वेता चौबे, सीडीअी अपूर्वा पांडे, अपर आयुक्त नरेंद्र क्वीराल, एसएचओ पौड़ी गोविन्द कुमार आदि शामिल रहे। संचालन जिला सूचना अधिकारी पौड़ी बीरेंद्र राणा ने किया।


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