विद्यालयी शिक्षा के लिए एक राज्य एक पाठ्यक्रम की नीति बनाने की मांग

अल्मोड़ा। राज्य आंदोलनकारियों ने मुख्यमंत्री उत्तराखंड को पत्र लिखकर उत्तराखंड में विद्यालयी शिक्षा के लिए एक राज्य एक पाठ्यक्रम की नीति बनाने की मांग की है। पत्र में कहा गया है कि राज्य में सरकारी और निजी विद्यालय पृथक-पृथक माध्यमों, पाठ्यक्रमों से शिक्षा देते ही हैं सरकार भी अटल आदर्श विद्यालयों तथा सामान्य विद्यालयों में अलग अलग तरीके से शिक्षा दे रही है। जिसके अनेक सामाजिक, नैतिक विषमता मूलक दुष्परिणाम सामने आ रहे हैं। अनेक विद्यालयों के परीक्षा परिणाम भी प्रभावित हो रहे हैं तथा राजकीय विद्यालयों में छात्र संख्या घट रही है। सरकार राजकीय विद्यालयों की कमियों को दूर करने के स्थान पर विद्यालयों को बंद करने जैसे जनविरोधी निर्णय ले रही है। इसलिए राज्य में समान शिक्षा की नीति बनाए जाने की आवश्यकता है, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों से पलायन भी रूकेगा तथा सभी वर्गों को शिक्षा एवं रोजगार के समान अवसर भी मिलेंगे। पत्र में ब्रह्मा नन्द डालाकोटी, शिवराज बनौला, दौलत सिंह बगड्वाल के हस्ताक्षर हैं।


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