उत्तराखंड: अधिकारी नहीं सुन रहे हैं मंत्री जी की
देहरादून। राज्य के स्वास्थ्य मंत्री की अधिकारी सुन ही नहीं रहे हैं, जी हां ये हम नही कह रहे हैं बल्कि पिछले साल दिए गये मंत्री के आदेशों का पालन न होना इस बात की पुष्टि कर रहे हैं। एक ओर प्रदेश सरकार सरकारी अस्पतालों और मेडिकल कालेजों में बेहतर चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध कराने के दावे कर रही है, वहीं दूसरी ओर प्रदेश के तीन राजकीय मेडिकल कालेजों में एमआरआई मशीनें नहीं लग पाई हैं। इसके अलावा कई सरकारी अस्पतालों में भी एमआरआई और सिटी स्कैन की सुविधा तक नहीं है।
प्रदेश में चार राजकीय मेडिकल कालेज चल रहे हैं। इसमें देहरादून, हल्द्वानी, श्रीनगर और अल्मोड़ा मेडिकल कालेज शामिल है। हरिद्वार, पिथौरागढ़ और रुद्रपुर में भी नए मेडिकल कालेज का निर्माण किया जा रहा है। पिछले साल दिसंबर में स्वास्थ्य मंत्री डॉ.धन सिंह रावत ने प्रदेश के सभी राजकीय मेडिकल कालेजों में एमआरआई मशीनें स्थापित करने के विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिए थे। लेकिन अभी तक राजकीय मेडिकल कालेज देहरादून में ही एमआरआई सुविधा शुरू हो पाई है।
जबकि राजकीय मेडिकल कालेज हल्द्वानी, श्रीनगर, अल्मोड़ा में एमआरआई मशीन लगी ही नहीं है। प्रदेश के मेडिकल कालेजों में ही जब एमआरआई मशीनें नहीं हैं तो सरकारी अस्पतालों की स्थिति का अंदाजा लगाया जा सकता है। कई सरकार जिला, उप जिला चिकित्सालय, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में सिटी स्कैन की सुविधा तक नहीं है। स्वास्थ्य मंत्री डा.धन सिंह रावत ने विभागीय अधिकारियों को फिर निर्देश दिए कि हल्द्वानी, अल्मोड़ा और श्रीनगर मेडिकल कालेज को शीघ्र एमआरआई मशीनें उपलब्ध कराई जाएं। जिससे उपचार के लिए मेडिकल कालेजों में आने वाले मरीजों को बेहतर चिकित्सा सुविधा मिल सके।