मुख्यमंत्री धामी के नेतृत्व में सुगम और सुरक्षित चारधाम यात्रा के लिए स्वास्थ्य विभाग की तैयारी तेज

देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत के दिशा-निर्देशों में स्वास्थ्य विभाग चारधाम यात्रा को सुरक्षित, सुगम और व्यवस्थित बनाने के लिए पूरी तरह कमर कस चुका है। विभाग यात्रा मार्गों पर स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ करने और किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए युद्धस्तर पर काम कर रहा है।

स्वास्थ्य सचिव आर. राजेश कुमार ने जानकारी दी कि डॉक्टरों और मेडिकल स्टाफ को उच्च हिमालयी क्षेत्रों की विषम परिस्थितियों में काम करने के लिए विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है। प्रशिक्षण शिविर देहरादून के दून मेडिकल कॉलेज और श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में आयोजित किए गए, जहां मेडिकल अधिकारियों को हाई एल्टीट्यूड पर होने वाली स्वास्थ्य समस्याओं से निपटने की तकनीकी जानकारी दी गई।

स्वास्थ्य सचिव ने बताया कि तीर्थयात्रियों को ऊंचाई वाले क्षेत्रों में सांस लेने में तकलीफ, ऑक्सीजन की कमी, रक्तचाप में उतार-चढ़ाव, हृदय संबंधी परेशानियां, गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल समस्याएं, छाले और स्ट्रोक जैसी गंभीर दिक्कतें हो सकती हैं। इन स्थितियों से समय रहते निपटने के लिए डॉक्टरों को व्यावहारिक अनुभव और क्लिनिकल दक्षता जरूरी है।

प्रशिक्षण कार्यक्रम में विशेष रूप से एक्यूट माउंटेन सिकनेस, हाई एल्टीट्यूड पल्मोनरी एडिमा, सेरेब्रल एडिमा, हृदयाघात, उच्च रक्तचाप, सांस फूलने की समस्या और स्ट्रोक जैसी बीमारियों के समय पर निदान व इलाज पर जोर दिया गया। साथ ही, मरीजों की एयर एम्बुलेंस के जरिए सुरक्षित निकासी, दवा प्रबंधन और समय पर रेफरल की प्रक्रिया पर भी ध्यान केंद्रित किया गया।

दून मेडिकल कॉलेज के स्किल सेंटर में आयोजित प्रशिक्षण में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र और जिला अस्पतालों में कार्यरत चिकित्सा अधिकारियों को उच्च हिमालयी क्षेत्रों की चुनौतियों से निपटने के लिए प्रशिक्षित किया गया। जल्द ही प्रशिक्षित मेडिकल टीमें चारधाम यात्रा मार्गों और पड़ावों पर तैनात की जाएंगी।

राज्य सरकार की पहल से इस वर्ष की चारधाम यात्रा को न केवल सुगम और व्यवस्थित बनाया जा रहा है, बल्कि श्रद्धालुओं की स्वास्थ्य सुरक्षा को भी प्राथमिकता दी जा रही है।

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