छात्रों को दिया दुर्घटनाओं के दौरान प्राथमिक उपचार का प्रशिक्षण

ऋषिकेश। एम्स ऋषिकेश द्वारा आयोजित ट्रॉमा सप्ताह के तहत ट्रॉमा रथ शनिवार को क्षेत्र के विभिन्न कॉलेज व स्कूलों में पहुंचा। इसमें ट्रॉमा विशेषज्ञों ने नुक्कड़ नाटक और जागरूकता कार्यक्रमों के माध्यम से छात्र-छात्राओं को जागरूक किया। साथ ही छात्रों को सड़क दुर्घटनाओं के दौरान प्राथमिक उपचार और जीवन को बचाने के तौर-तरीकों का प्रशिक्षण दिया गया। शनिवार को एम्स ऋषिकेश का ट्रॉमा रथ आईडीपीएल स्थित केंद्रीय विद्यालय पहुंचा। विद्यालय में एनपीडीए की टीम ने नुक्कड़ नाटक प्रस्तुत कर उपस्थित छात्र-छात्राओं को दुर्घटना के दौरान उपचार की तत्कालिक तकनीक के बारे में विस्तार से समझाया। ट्रॉमा रथ के प्रभारी व एम्स के ट्रॉमा सर्जन डॉ. मधुर उनियाल ने बताया कि दुर्घटना होने की स्थिति में हमें सबसे पहले 108 नंबर पर फोन कर घायल व्यक्ति की जान बचाने का प्रयास करना चाहिए। घायल व्यक्ति को सबसे पहले मौके पर ही प्राथमिक आघात चिकित्सा की जरूरत होती है। बेहोश व्यक्ति को सबसे पहले गंभीर अवस्था से बाहर लाना होता है। साथ ही रूमाल या कोई कपड़ा बांधकर उसके शरीर से बह रहे रक्त को रोकना बहुत जरूरी है ताकि अस्पताल पहुंचने तक अत्यधिक रक्तस्राव की वजह से उसकी जान को ज्यादा जोखिम न हो। शरीर की कोई हड्डी फ्रैक्चर हो जाने की स्थिति में घायल व्यक्ति को किस प्रकार मैनेज किया जाता है। इसके अलावा प्रस्तुत किए गए स्कूल हेल्थ अवेरनेस प्रोग्राम के तहत हेलमेट पहनने के लाभ और इसकी उपयोगिता समझाई गई। सड़क दुर्घटना के दौरान हेलमेट नहीं होने की स्थिति में क्या-क्या नुकसान हो सकता है, इस बारे में भी विद्यार्थियों को बारीकी से जानकारी दी गई।
इस दौरान एम्स के ट्रॉमा रथ ने तहसील क्षेत्र के डीएसबी स्कूल गुमानीवाला, एनडीएस स्कूल श्यामपुर और रेडफोर्ट पब्लिक स्कूल टिहरी विस्थापित क्षेत्र निर्मल बाग में भी जन-जागरुकता के कई कार्यक्रम प्रस्तुत किए। मौके पर डॉ. अजय कुमार, डॉ. भास्कर सरकार, ट्रॉमा विभाग के एएनएस महेश देवास्थले, डीएनएस कमलेश बैरवा, शशिकांत आदि उपस्थित रहे।

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