देवप्रयाग में गुस्साए छात्रों ने किया प्राचार्य का घेराव
नई टिहरी। राजकीय महाविद्यालय देवप्रयाग की पीजी कक्षा में 50 प्रतिशत अंकों की बाध्यता से नाराज छात्र-छात्राओं ने प्राचार्य का घेराव किया। छात्र-छात्राओं ने इय बावत श्रीदेव सुमन विवि के उपकुलपति को ज्ञापन भी प्रेषित किया। शुक्रवार को अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद इकाई देवप्रयाग के सोशल मीडिया प्रभारी नवीन कुमार की अगुवाई में राजकीय महाविद्यालय देवप्रयाग के छात्र-छात्राओं ने प्राचार्य का घेराव कर एमए में प्रवेश के लिए 50 फीसदी अंको की अनिवार्यता खत्म करने की मांग की। छात्रों ने विवि उपकुलपति को भेजे ज्ञापन में एमए में प्रवेश के लिए स्नातक स्तर पर 45 के बजाय 50 प्रतिशत अंकों की बाध्यता पर्वतीय क्षेत्र के छात्र-छात्राओं के लिए अभिशाप बताया। छात्र-छात्राओं ने कहा कि 50 प्रतिशत अंकों की अनिवार्यता के चलते अधिकांश छात्र-छात्राएं यहां प्रवेश से वंचित रह जाते हैं। वहीं एमए की अधिकांश सीटें यहां खाली रहती हैं। ज्ञापन के अनुसार पर्वतीय क्षेत्र के कारण यहां के छात्र-छात्राएं काफी मुश्किल से बीए कर पाते हैं। मगर इनमें से अधिकांश 50 फीसदी अंक नहीं ला पाते, जिससे वह एमए में प्रवेश से वंचित रह जाते हैं। जबकि वह विभिन्न विषयों में एमए करने का सपना संजोये रहते हैं। ऐसे में स्नातक स्तर पर 50 फीसदी अंको की अनिवार्यता समाप्त होनी चाहिए। प्राचार्य डॉ. अर्चना धपवाल ने छात्र-छात्राओं की मांग उपकुलपति तक पहुंचाने का आश्वासन दिया। ज्ञापन देने वालों में अरविंद रावत, प्रियभरत, गौरव, सौरभ, दिव्या, आंचल, करिश्मा, सोनम, आईशा, अंजली, पूजा, आरती, शिवानी, संगीता, सोनाली, अनीशा आदि शामिल रहे।