
अल्मोड़ा। कांग्रेस ने घोषणा की है कि उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (यूके-ट्रिपल एससी) पेपर लीक प्रकरण को लेकर 3 अक्टूबर को प्रदेशस्तरीय विरोध प्रदर्शन करेगी। सोमवार को अल्मोड़ा कांग्रेस कार्यालय में आयोजित पत्रकार वार्ता में पूर्व सांसद प्रदीप टम्टा ने कहा कि सरकार नकल माफियाओं को संरक्षण दे रही है और हाई कोर्ट की मॉनिटरिंग में सीबीआई जांच से बच रही है। उन्होंने मांग की कि मामले की जांच सीबीआई को सौंपी जाए और उसकी निगरानी हाई कोर्ट करे। प्रदीप टम्टा ने हाकम सिंह प्रकरण में अब तक किसी सजा न होने पर सवाल उठाए और कहा कि यह सरकार की मिलीभगत को उजागर करता है। कांग्रेस ने पुरानी परीक्षाएं निरस्त कर नई तिथियों की घोषणा करने की भी मांग की। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि मांगें पूरी नहीं हुईं तो आंदोलन और उग्र किया जाएगा। पूर्व सांसद ने कहा कि जब कांग्रेस सरकार में थी, तब गरूड़ाबांज में मुंशी हरि प्रसाद टम्टा के नाम पर शिल्प उन्नयन संस्थान की आधारशिला रखी गई थी, लेकिन भाजपा सरकार में आने के बाद से यह काम ठप पड़ा हुआ है। पंचायत चुनावों में गड़बड़ी का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि एक प्रत्याशी का नाम एक से अधिक निर्वाचक नामावलियों में होने के बावजूद चुनाव लड़ने की अनुमति देना आयोग की लापरवाही और पक्षपात को दिखाता है। इस पर हाई कोर्ट ने रोक लगाई और सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर करने पर राज्य निर्वाचन आयोग पर दो लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया। पत्रकार वार्ता में प्रदीप टम्टा ने अनुसूचित जाति और जनजाति वर्ग के बैकलॉग पदों की रिक्तता का मुद्दा भी उठाया। उन्होंने कहा कि वर्ष 2000 से पहले और बाद के सभी सरकारी और अर्ध-सरकारी दफ्तरों में ये पद लंबे समय से खाली पड़े हैं। इन्हें विशेष अभियान चलाकर तुरंत भरा जाना चाहिए, ताकि आरक्षण नीति का पूरा लाभ मिल सके। उन्होंने क्वारब डेंजर जोन की समस्या पर भी सरकार को आड़े हाथों लिया और कहा कि मार्ग के सुधारीकरण को लेकर अब तक स्थायी समाधान नहीं निकाला गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि डबल इंजन की सरकार हर मोर्चे पर विफल साबित हो रही है। पत्रकार वार्ता में विधायक मनोज तिवारी, कांग्रेस जिला अध्यक्ष भूपेंद्र भोज, पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष प्रकाश चंद्र जोशी, नगर अध्यक्ष ताराचंद जोशी, भैरव गोस्वामी और पीतांबर पांडे भी मौजूद रहे।