पार्षद बोले, कूड़े से निजात मिलने तक चलेगा आंदोलन

ऋषिकेश। तीर्थनगरी ऋषिकेश में आबादी के बीच डंप हो कूड़े के निस्तारण की मांग को लेकर गुरुवार को तीसरे दिन भी पार्षद धरने पर डटे रहे। आंदोलनरत पार्षदों ने दो टूक शब्दों में चेताया कि जब तक शहर को कचरे से निजात नहीं मिलेगी, तब तक उनका आंदोलन चलत रहेगा। नगर निगम ऋषिकेश के गोविंदनगर में खाली भूखंड में पिछले चार दशक से डंप हो रहे शहर के कचरे के निस्तारण को लेकर मोर्चा खोलने वाले पार्षद गुरुवार को भी हरिद्वार मार्ग पर डंपिंग जोन के सामने आंदोलन पर रहे। अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे पार्षदों ने कहा कि नगर निगम बोर्ड तीन साल पहले कूड़े के निस्तारण के लिए प्रस्ताव भी पारित कर चुका है, लेकिन अभी तक यहां से कूड़ा नहीं हटाया गया है। गोविंद नगर क्षेत्र में आबादी के बीच एक खाली भूखंड में सालों से कचरा डाला जा रहा है। वर्तमान में यहां कूड़े के बड़े-बड़े ढेर खड़े हो गए हैं। बरसात में कूड़े के भीगने से आसपास के लोगों को दुर्गंध का सामना करना पड़ता है। बारिश में गंदगी बहकर हरिद्वार रोड पर आ जाती है, जिससे मार्ग से गुजरने वाले लोगों को मुश्किलें झेलनी पड़ती हैं। पर्यटन नगरी के चलते देश विदेश से आने वाले पर्यटकों के सामने भी क्षेत्र की छवि धूमिल हो रही है। सरकार और सरकार के नुमाइंदे इस ज्वलंत समस्या की सुध नहीं ले रहे। गुरुवार को धरने पर पार्षद विजय बडोनी, अजीत सिंह गोल्डी, राकेश मियां, मनीष बनवाल, देवेंद्र प्रजापति, चेतन चौहान, भगवान पंवार, लव कांबोज, राजेंद्र सिंह बिष्ट, गुरविंदर सिंह, पूर्व सभासद रामकुमार संगर, हरिराम वर्मा आदि रहे।